देखना कल के अखबार का राशिफल...
देखना कल के
अखबार का राशिफल
योग मेरा तेरे
साथ मिल जायेगा ।
बात हो, साथ हो और फिर रात हो,
में खुद-ब-खुद
हाथ मिल जायेगा।
मुझको पहचान के
अपनी मुस्कान से
गर जलाओ दिये
होगी दीपावली।
फिर ये पुरवाइयाँ
लेंगीं अँगड़ाइयां
चट चटक जायेगी
बाग की हर कली।
धड़कनों की दुल्हन
बन के शरमाओ तो-
दिल ये लेकर के
बारात मिल जायेगा। देखना........
फूल बालों में जब
से लगाया प्रिये
हम परागों का
व्यापार करने लगे।
आस्था मन्दिरों
में तुम्हारी जगी
पत्थरों से भी हम
प्यार करने लगे ।
डाल दो तुम इधर
एक शहरी नज़र-
नेह का तुमको
देहात मिल जायेगा। देखना..........
चटके दरपन में
झाँकोगी टूटोगी तुम
मेरी आँखे भला
काम कब आयेंगीं?
रात से दिन
लिपटता है जिस बिन्दु पर
मेरे जीवन में वो
शाम कब आयेंगीं?
तेज़ बारिश में
तुम भीग कर देख लो-
मेरे आँसू का
अनुपात मिल जायेगा। देखना......
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