गणेश वंदना
गणेश वंदना
देवा लंबोदर गिरिजा नंदना।
यहि पूजि करी मनकामना।
तुम प्रिय पावन हे मनभावन
विद्या देहु गजानना। देवा....
जय गणनायक जय वर दायक
काट देऊ मम फंदना। देवा....
तुम तो करुणा के सागर
प्रथम पूज्य और जगत उजागर
करूं प्रेम युत वंदना। देवा....
पड़ी सुमन की गल विच माला
सोहत सुंदर रूप विशाला
मस्तक रोरी चंदना। देवा....
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